लोकसभा में सांसद गुमानसिंह डामोर ने रतलाम कें मल्टी लॉजिस्टिक पार्क के मुद्दे के साथ ही झाबुआ अलीराजपुर क्षेत्र में सडको को लेकर उठाया प्रभावी मुद्दे
पूरे लोकसभा अंचल के विकास के लिये सतत प्रतिबद्ध है सांसद डामोर
झाबुआ। देश की संसद लोकसभा में मध्यप्रदेश के रतलाम झाबुआ अलीराजपुर संसदीय क्षेत्र के हक की बात सोमवार को उठी। इस आवाज को उठाया क्षेत्रीय सांसद गुमानसिंह डामोर ने। लोकसभा में शून्यकाल के दौरान सांसद डामोर ने सड़क व परिवहन के मामलों को उठाया। लोकसभा में सोमवार को शून्यकाल के दौरान रतलाम झाबुआ अलीराजपुर के सांसद गुमानसिंह डामोर ने सदन के माध्यम से क्षेत्र में सड़क परिवहन की सुविधा मजबूत करने लिए कई सुझाव रखें। इस दौरान सांसद गुमानसिंह डामोर ने जिला मुख्यालय को अनिवार्य रुप से फोरलेन से जोडऩे की वकालत की। इतना ही नहीं, तहसील क्षेत्र को जिला मुख्यालय से जोडऩे को कहा।
सांसद गुमानसिंह डामोर ने कहा इस समय प्रधानमंत्री रोड का काम पूरे देश में हो रहा है। इसकी केपेेसिटी 20 टन की है, जबकि इसका अपग्रेडेशन होकर यह निर्माण 80 टन तक का वजन सहने का होना चाहिए। दिल्ली मुंबई ग्रीन फील्ड 8 लेन एक्सप्रेस हाईवे जो रतलाम शहर के करीब से निकल रहा है, उसके लिए रतलाम में मल्टी लॉजिस्टिक पार्क की स्थापना करने की बात भी सांसद गुमानसिंह डामोर ने की।
सांसद गुमानसिंह डामोर ने भारतमाला प्रोजेक्ट में रतलाम से झाबुआ को फोरलेन को जोडऩे की बात कहते हुए बोला झाबुआ से आलीराजपुर टोल रोड होने के कारण इसको शामिल नहीं कर पाए है। इसके लिए समाधान होना जरूरी है। इसके अलावा रतलाम - इंदौर को पेटलावद - बदनावर तक फोरलेन रोड से जोडऩे की बात कही। इससे लाभ यह होगा कि अहमदाबाद तक रतलाम से सड़क मार्ग से दूरी कम हो जाएगी।
सांसद गुमानसिंह डामोर ने कहा बड़ोदा से खंडवा तक नेशनल हाईवे घोषित तो किया गया, लेकिन अब तक इसका निर्माण कार्य शुरू नहीं हुआ। इस काम को तेज गति से शुरू करने सहित लोकसभा क्षेत्र रतलाम के अंतर्गत अलीराजपुर शहर में से निकल रहे हाईवे के करीब बाईपास मार्ग बनाने की बात कही। राजस्थान के बांसवाड़ा से कुशलगढ़ होते हुए मध्यप्रदेश के थांदला व झाबुआ को फोरलेन से जोडऩे की बात की गई। इससे मध्यप्रदेश व राजस्थान के बीच सड़क संपर्क आसानी से जुड़ जाएगा। संसदीय रतलाम में आने वाले जनजातीय बाहुल्य गांव को अब तक मुख्य सड़क से नहीं जोड़ा गया है, उनको जोडऩे की बात की गई। इतना ही नहीं नेशनल हाईवे नंबर 47 में आने वाले पिटोल व माछलिया गांव क्षेत्र की जर्जर रोड को सुधार करने की बात भी संासद ने कही।
सांसद गुमानसिंह डामोर समय समय पर संसद के साथ ही विभिन्न मंचों से लोकसभा क्षेत्र के सभी अंचलों को लेकर गंभीरता पूर्वक समस्याओं के साथ ही तेजी से क्षेत्र के विकास के लिये आवाज उठाते रहे है, जिसका सकारात्मक परिणाम भी अंचल में दिखाई देने लगा है। सोमवार को सांसद गुमानसिंह डामोर ने सदन के माध्यम से क्षेत्र में सड़क परिवहन की सुविधा सुदृढ़ करने लिए सुझाव रखे। जिसमें मुख्यतः जिला मुख्यालय रतलाम, झाबुआ एवं आलीराजपुर को अनिवार्य रूप से फोरलेन से जोडने तथा विकासखंड मुख्यालयों एवं तहसील मुख्यालयों को फोरलेन से जोडे जाने की मांग दोहराई ।
श्री डामोर ने यह भी कहा कि क्षेत्र के रतलाम से झाबुआ को फोरलेन से जोड़ने के लिए आपने भारतमाला 2 प्रोजेक्ट में सम्मिलित किया है। लेकिन झाबुआ से आलीराजपुर टोल रोड होने के कारण सम्मलित नही कर पाये कुछ समाधान निकाल कर इसे भी जोड़ा जाना जनहित मे जरूरी है। वही रतलाम-इंदौर को पेटलावद-बदनावर तक फोरलेन रोड से जोड़ा जाये जिससे अहमदाबाद गुजरात तक शॉर्टकर्ट हो कर जा सकते है इसे भी जोड़ा जाये। साथ ही उन्होने कहा कि बड़ोदा से खण्डवा नेशनल हाइवे घोषित हुआ है, परंतु नेशनल हाइवे का कार्य शुरू नही हुआ। इस कार्य को अतिशीघ्र शुरू किया जाने के साथ ही लोकसभा क्षेत्र के अलीराजपुर शहर में से जो नेशनल हाइवे गुजर रहा है,इसके बाईपास का निर्माण अनिवार्य रूप से किया जाए ताकि शहर का ट्रैफिक सुचारू रूप से संचालित हो ओर दुर्घटना से बचा जा सके।
वही उन्होने लोकसभा में शून्यकाल के दौरान कहा कि राजस्थान राज्य के बांसवाड़ा वाया कुशलगढ़ होते हुए हमारे मध्यप्रदेश के थांदला ओर झाबुआ को फोरलेन के माध्यम से जोड़ा जाए जिससे हमारे क्षेत्र की राजस्थान से कनेक्टिविटी बड़े। सांसद गुमानसिंह के अनुसार उनका लोकसभा क्षेत्र जनजातीय बाहुल्य क्षेत्र है ,यहां गाँवो की जो रचना है, जो फलिये है को जो सड़क से जुड़े हुए नहीं है उन्हें पक्की सड़को से जोड़ा जाए तथा इन्विलेज रोड बनाये जाए। नेशनल हाइवे क्रमांक 47 जो गुजरात से जुड़ता है उसका लम्बे समय से संधारण नहीं हुआ है पिटोल मछलिया तक ज्यादा खराब है । सांसद डामोर ने लोकसभा में सरकार से अनुरोध किया कि इसका भी संधारण प्राथमिकता के आधार पर किया जाए।
सांसद डामोर द्वारा विभिन्न मंचो के साथ ही संसद में इस अंचल कीसमस्याओं एवं बातों को प्रभावी तरिके से उठाये जाने पर पूरे लांेकसभा अंचल के लोगों द्वारा उनकी भूरी भूरी प्रसंशा की जारही है।
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