झाबुआ में बना देश का पहला मोदी मोहल्ला

झाबुआ: जिले में इन दिनों मोदी फलिये की काफी चर्चा हो रही है । संभवतः देश के आदिवासी इलाकों में मध्य प्रदेश के झाबुआ जिला ऐसा पहला जिला होगा जहां प्रधानमंत्री आवास योजना में बने आवासों के फलिये (मोहल्ले) को प्रधानमंत्री मोदी का नाम दिया गया हो।

प्रधानमंत्री आवास योजना से यहां खुश हैं ग्रामीण

          जिले की ग्राम पंचायत कालाखूंट में प्रधानमंत्री आवास योजना में 350 आवासों का लक्ष्य मिला है, जिसमें से 130 आवास पूर्ण है। गांव के ही भगत फलिये के 36 हितग्राहियों को योजना के तहत पक्का मकान मिला। सर पर पक्की छत पाकर ग्रामीणों ने ग्राम सभा में प्रस्ताव कर इस फलिये का नाम बदलकर इसे मोदी फलिया करवा दिया।
          मोदी फलिये की कहानी आपको बताएं इससे पहले जानिए कि झाबुआ जिलें के गाँवो में मोहल्ले को फलिया कहा जाता है जिसमें 20 से लेकर 100 मकान होते हैं। कई परिवार यहां रहते हैं और एक दूसरे के सुख दुख के साथी होते हैं। पूरे गांव में अलग अलग मोहल्ले (फलिये) हैं जो अलग अलग नाम से जानें जाते हैं।
 कैसे पड़ा नाम मोदी फलिया
झाबुआ में बना देश का पहला मोदी मोहल्ला (मोदी फलिया) -jhabua-kalakhut-panchayat-name-mohalla-as-modi-faliyaकालाखूंट पंचायत के इस फलिये में एक साथ 48 परिवारों के बारिश के मौसम में टपकनें वाले खपरैल और टपकती छत की जगह पक्के मकानों ने ले ली है। 48 मकानों में से 36 का काम पूरा हो चुका है। कच्चे टूटे मकानों से छुटकारा दिलानें में मोदी सरकार की आवास योजना ने बड़ी भूमिका अदा की है। इस आवास योजना के अन्तर्गत इन परिवारों को जो घर मिला उसके बाद इन लोगों ने अपनें मोहल्ले का नाम ही मोदी फलिया रख दिया। 
गांव की भौगोलिक संरचना 
मध्यप्रदेश और गुजरात की सीमा से सटे इस गांव की आबादी करीब 3500 के आसपास है। आवास योजना के पहले चरण में 285 मकानों को मंजूरी मिली थी। जिसके बाद कच्ची झोपड़ियों को पक्का मकान बनानें का काम शुरु हो गया। 2 अक्टूबर के पहले तक इस जगह को भगत फलिया के नाम से जाना जाता था पर अब नाम है मोदी फलिया। मोदी फलिये के बाद अब वहां के ग्रामीण अब स्वछता की ओर आगे बढ़ रहे है फलिये में साफ सफाई का दौर भी शुरू हो चुका है।

Also Read:  झाबुआ के एक शख्स का नाम है ‘26 जनवरी’

       ग्रामीणों द्वारा बताया गया कि जब से उन्हें प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत आवास मिले है तब से वह अपने आप को सुरक्षित महसूस कर रहे पहले कच्चे आवास के कारण जहरीले जीव-जन्तु का भी खतरा बना रहता था साथ बारिश में उनके घर के छज्जे उड़ जाया करते थे जिससे उन्हें हमेशा किसी अप्रिय घटना की आशंका बनी रहती थी। लेकिन प्रधानमंत्री की इस महत्वकांक्षी योजना से वह बहुत खुश है और उनकी इस योजना का सम्मान भी करते है, जिस सम्मान को एक नया नाम देते हुए उन्होंने अपनी पंचायत के फलिये का नाम मोदी फलिया रख दिया व अपनी खुशी जताई।
सरपंच ने जताई खुशी 
गांव के सरपंच भी बेहद खुश हैं। इस चरण में जिन गावों का चयन हुआ है उनका काम खत्म होते ही दूसरे चरण में और कई गांव हैं जो इस योजना के अन्तर्गत आएंगे।

रहें हर खबर से अपडेट झाबुआ न्यूज़ के साथ


Google News
विज्ञापन हटाएं यहाँ क्लिक करें